मुक्त बाल विश्व ( बालनाट्य संग्रह)
नाटक- नग र बाबा शाला ( वीरेंद्र गणवीर), फूटपाथ (सुरेन्द्र वानखेडे) और स्कूल चलें हम ( सुहास खंडारे)।
दिनांक २९ जनवरी २०११ को रत्नागिरी(महाराष्ट्र) में हुये ९१ वे अखिल भारतीय नाट्य संमेलन मे, प्रसिद्ध अभिनेत्री स्मिता तलवलकर के हाथो 'मुक्त बाल विश्व' (बालनाट्य -संग्रह) का विमोचन हुआ। बहुजन रंगभूमि प्रकाशन विभाग ने इसका प्रकाशन किया। इस बाल नाट्य संग्रह के लेखक - सुरेन्द्र वानखेडे एवं वीरेंद्र गणवीर उपस्थित थे। अभिनेता एवं प्रसिद्ध रंगकर्मी मोहन जोशी, नाट्य समीक्षक -कमलाकर नाडकर्णी, मीना नाईक, नाट्य समीक्षक -सुभाष चान्दूरकरएवं दिलीप ठाणेकर ने युवा लेखक को बाल नाट्य संग्रह के विमोचन पर मंगलकामनाए दी।
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महानाट्य- चलें हम प्रबुद्ध भारत की ओर...
लेखक- वीरेंद्र गणवीर।
दिनांक १६ सितंबर २००९ को विदर्भ हिन्दी संमेलन मोरभवन, नागपुर(महाराष्ट्र) में शाम ६ बजे 'महानाट्य- चलें हम प्रबुद्ध भारत की ओर...' का प्रकाशन समारोह संपन्न हुआ। इसका प्रकाशन, ब्लू वर्ल्ड सिरीज़( एम्बस) ने किया।प्रकाशन समारोह की अध्यक्षता धी. विजय मानकर (नेशनल ऑर्गयझर,एम्बस), वरिष्ठ साहितिक - ताराचन्द्र खांडेकर , वरिष्ठ नाट्य समीक्षक डॉ ईश्वर नन्दापुरे, पत्रकार सचिन काटे, सामाजिक कार्यकर्ता -राहुल वानखेडे, वरिष्ठ रंगकर्मी तक्षशिला वाघधरे और महानाट्य के लेखक- वीरेंद्र गणवीर विशेष रूप से उपस्थित थे।
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'आंबेडकरी नाट्य महोत्सव' मे साहित्तिक- डॉ. यशवंत मनोहर इनका अध्यक्षीय भाषण।
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